- -720 सीटों की क्षमता वाला सभागार इंद्रधनुष अत्याधुनिक सुविधाओं से सुसज्जित
-एक लाख 80 हजार तक की आय वाले परिवारों की बेटियों को देगे स्नातकोत्तर तक नि:शुल्क शिक्षा
– बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ अभियान को और सुदृढ़ करते हुए लिंगानुपात पहुंचायेंगे 950 तक
– मुख्यमंत्री ने की 21 लाख रुपये की घोषणा की तो सांसद ने भेंट किये 11 लाख रुपये
रणबीर रोहिल्ला, सोनीपत। जीवीएम गर्ल्ज कालेज के ड्रीम प्रोजैक्ट सभागार इंद्रधनुष को बतौर मुख्य अतिथि लोकार्पित करते हुए मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने बधाई दी कि बेटियों की शिक्षा को समर्पित यह संस्था सराहनीय कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि 1 लाख 80 हजार रुपये तक की आय वाले परिवारों की बेटियों को स्नातकोत्तर तक की शिक्षा नि:शुल्क रूप से दिलायेंगे। मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने कहा कि सरकार बहन-बेटियों की शिक्षा के लिए समर्पित रूप से प्रयासरत है। बहन-बेटियों को उच्च शिक्षा के लिए दूर न जाना पड़े, इसके लिए प्रति 20 किलोमीटर क्षेत्र में कालेज स्थापित किया है।
अभी तक 150 कालेज स्थापित किये जा चुके हैं और जहां यहा सुविधा नहीं है वहां बेटियों को 150 किलोमीटर तक की नि:शुल्क बस पास की सुविधा दी गई है। इसके लिए स्पेशल 150 महिला बसें चलाई गई हैं। बेटियों की शिक्षा में कोई अड़चन नहीं आने दी जाएगी। प्राचीनकाल से ही महिला शिक्षा के प्रयास किये जाते रहे हैं। आज भी सरकार बेहतरीन प्रयास कर रही है। मुख्यमंत्री खट्टर ने कहा कि हरियाणा की बेटियों ने अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर ख्याति प्राप्त की है, जिसमें सुषमा स्वराज भी एक बड़ा उदाहरण है, जिनके नाम पर प्रदेश सरकार ने 5 लाख रुपये की राशि के बेस्ट वूमन अवार्ड की घोषणा की है। उन्होंने कल्पना चावला का उदाहरण भी देते हुए कहा कि बेटियों ने हर क्षेत्र में कीर्तिमान स्थापित किये हैं। हमारी परंपरा में बेटियों को माता का स्वरूप मानते हैं।
नवरात्रों में पूजन करते हैं। मुख्यमंत्री खट्टर ने कहा कि पानीपत की धरती से समाज के माथे पर लगे कन्या भ्रूण हत्या रूपी कलंक को धोने के लिए बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ अभियान की शुरुआत की थी, ताकि लिंगानुपात में सुधार हो सके। उस समय प्रदेश में लिंगानुपात 871 प्रति 1000 थी, जबकि सबके एकजुट प्रयासों से सुधार के बाद अब लिंगानुपात 924 पर पहुंच चुका है। लिंगानुपात को 950 पर लेकर जाने का लक्ष्य तय किया गया है। उन्होंने कहा कि काम करने का भाव व नीयत होनी चाहिए। उन्होंने जीवीएम संस्था की मुक्त कंठ से प्रशंसा करते हुए कहा कि संस्था के प्रधान डा. ओपी परूथी ने उनसे कोई मांग नहीं कि और न अपेक्षा रखी। उन्होंने कहा कि सभागार पर बड़ी राशि खर्च हुई होगी, जिसमें सहयोग के लिए वे 21 लाख रुपये की घोषणा करते हैं। उन्होंने कहा कि सभागार का नाम बहुत सुंदर रखा गया है। इंद्रधनुष अलग-अलग रंग व आभा बिखेरता है। उन्होंने आशीर्वाद दिया कि यहां की बेटियां इंद्रधनुष के तेज व आभा का प्रतीक बनते हुए जीवन में आगे बढ़ें।
इस मौके पर सांसद रमेश कौशिक ने भी जीवीएम संस्था के लिए 11 लाख रुपये की राशि भेंट करने की घोषणा की। इसके पहले कालेज की प्राचार्या डा. रेनू भाटिया ने मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर व सांसद रमेश कौशिक सहित आमंत्रित अतिथियों का स्वागत किया। साथ ही उन्होंने कालेज की उपलब्धियों का भी संक्षिप्त ब्यौरा दिया। अंत में संस्था के प्रधान डा. ओपी परूथी ने मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर व सांसद रमेश कौशिक का धन्यवाद करते हुए आभार प्रकट किया। साथ ही डा. परूथी ने मुख्यमंत्री को पुष्पगुच्छ देकर अभिनंदन करते हुए स्मृति चिन्ह भेंट कर सम्मानित किया। संस्था के कोषाध्यक्ष राजेश रेलन ने सांसद रमेश कौशिक को स्मृति चिन्ह भेंट कर सुशोभित किया। इस दौरान समारोह का प्रभावी रूप में कुशल संचालन मंच संचालक के रूप में असिस्टेंट प्रोफेसर एवं उद्बोधक भूमिका शर्मा ने किया।
अत्याधुनिक सभागार की क्षमता 720 सीटों की
जीवीएम के ड्रीम प्रोजैक्ट सभागार को इंद्रधनुष के शीर्षक से अलंकृत किया गया है, जिसका चयन संस्था के प्रधान डा. ओपी परूथी के निर्देशन में प्राचार्या डा. रेनू भाटिया ने किया। इंद्रधनुष पूर्ण रूप से वातानुकूलित है, जिसकी क्षमता 720 सीटों की है। सोनीपत के अन्य किसी डिग्री कालेज में इतनी क्षमता वाला इस प्रकार का सभागार नहीं है। इस नई सौगात से कालेज की छात्राओं के सर्वांगीण विकास को बल मिलेगा।
डॉक्यूमैंट्रियों के माध्यम से दर्शाई उपलब्धियां
सभागार के लोकार्पण समारोह में मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के नेतृत्व में हरियाणा के तीव्र गति से बढ़ते विकास कदमों की प्रभावी जानकारी अनूठे अंदाज में दी गई। उद्बोधक भूमिका शर्मा उपलब्धियों को बताती चली गई और साथ में प्रोजैक्टर पर संबंधित फिल्म दर्शाते गये। उन्होंने प्रमुख रूप से मुख्यमंत्री अंत्योदय परिवार उत्थान योजना तथा डायल-112 इत्यादि योजनाओं व विकास कार्यों से अवगत करवाया। इसके उपरांत सांसद रमेश कौशिक की उपलब्धियों को डॉक्यूमैंट्री के जरिये प्रदर्शित किया गया, जिसमें उनके द्वारा सोनीपत संसदीय क्षेत्र को दिलाये एनएचएआई के राष्ट्रीय सडक़मार्गों व रेल कोच फैक्टरी को प्रमुखता से शामिल किया गया।
जीवीएम संस्था के बढ़ते कदमों की दिखाई अनूठी झलक
बेटियों की शिक्षा को समर्पित जीवीएम संस्था के निरंतर विकास की ओर अग्रसर बढ़ते कदमों की भी डॉक्यूमैंट्री के माध्यम से अनूठी झलक दिखाई गई। शुरुआत जीवीएम कन्या वरिष्ठï माध्यमिक विद्यालय से की गई, जिसके बाद जीवीएम गल्र्ज कालेज की स्थापना हुई। साथ में जीवीएम इंस्टीट्यूट ऑफ टैक्रॉलोजी एंड मैनेजमेंट और फिर जीवीएम कालेज ऑफ फार्मेसी स्थापित हुआ। साथ ही साथ धर्मार्थ अस्पताल के रूप में संस्था द्वारा दी जा रही चिकित्सीय सेवाओं को भी दर्शाया गया। नैक-ए ग्रेड के साथ युवा महोत्सव में सिरमौर रहा जीवीएम गल्र्ज कालेज का कीर्तिमान अटूट है। संस्था की छात्राएं हर क्षेत्र में उच्च पदों को सुशोभित कर रही हैं।
जगतगुरू भारत के विभाजन के दर्द के बाद नव-निर्माण का सफर
मुख्यमंत्री के अभिनंदन व सभागार के लोकार्पण अवसर को उत्सव का रूप दिया गया। कालेज की छात्राओं ने सांस्कृतिक कार्यक्रमों की मनोहारी प्रस्तुतियां दी। इनमें प्रमुख रूप से जगतगुरू भारत थियेट्रिकल-शो शामिल रहा। थियेट्रिकल-शो के माध्यम से भारत के विभाजन के दर्द को उकेरा गया, जिसके बाद हुए देश के नव-निर्माण के सफर की कहानी दशाई गई। नाट्य कलाकारों ने सजीवता के साथ अपने किरदारों को निभाया। दर्शकों ने नम आंखों से तालियों की गडग़ड़ाहट से कलाकारों को बधाई दी, जिन्होंने दिल को छू लेने वाली प्रस्तुति दी। द्वापर व त्रेता युग के दर्शन करवाते हुए छात्राओं ने भारत के नव निर्माण की झलक प्रस्तुत की। इसके पहले कालेज की छात्राओं ने सरस्वती वंदना के साथ सांस्कृतिक कार्यक्रमों की शुरुआत की। अंत में मनमोहक राजस्थानी समूह नृत्य की प्रस्तुति दी गई।
एनसीसी की छात्राओं ने दिया गार्ड ऑफ ऑनर
जीवीएम की एनसीसी इकाई ने मुख्यमंत्री मनोहर लाल के आगमन पर गार्ड ऑफ ऑनर देते हुए उनका स्वागत किया। कालेज पहुंचने पर एनसीसी की छात्राओं ने पायलटिंग की और फिर मुख्यमंत्री के सम्मान में राइफल्स के साथ राष्ट्रीय सलामी दी।
मुख्यमंत्री के स्वागत में दुल्हन की तरह सजाया जीवीएम को
जीवीएम गर्ल्ज कालेज को मुख्यमंत्री मनोहर लाल के स्वागत में दुल्हन की तरह सजाया गया। प्रमुखद्वार पर तोरणद्वार बनाया गया। रेड कार्पेट बिछाकर मुख्यमंत्री को आयोजन स्थल तक लाया गया। पूरे परिसर को फूलों से सजाया गया।