सरकार द्वारा स्वयं रोजगार के लिए बहुत ही अच्छी स्कीम
रणबीर सिंह रोहिल्ला, सोनीपत। अतिरिक्त उपायुक्त शांतनू शर्मा ने कहा कि खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्रालय ने राज्य, संघ राज्य क्षेत्र सरकार की भागीदारी में मौजूदा सूक्ष्म खाद्य उद्यमों के उन्नयन के लिए वित्तीय, तकनीकी एवं कारोबार सहायता देने के लिए अखिल भारतीय आधार पर पीएम एफएमई (प्रधान मंत्री सूक्ष्म खाद्य उद्योग उन्नयन योजना) शुरू की है। अतिरिक्त उपायुक्त एफपीओ, स्वयं सहायता समूहों, सहकारिताओं, कॉमन इंफ्रास्ट्रक्चर एवं विपणन तथा ब्रांडिंग के समर्थन के लिए बैठक को संबोधित कर रहे थे।
इस दौरान उन्होंने सभी स्वयं सहायता समूहों से सरकार द्वारा चलाई जा रही योजना के लिए ज्यादा से ज्यादा आवेदन करने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा स्वयं रोजगार के लिए बहुत ही अच्छी स्कीम है जिसका फायदा उठाएं। अतिरिक्त उपायुक्त ने कहा कि इस योजना में एक जिला एक उत्पाद दृष्टिकोण के तहत इनपुट की खरीद, सामान्य सेवाओं का लाभ लेने तथा उत्पादों के विपणन के लाभों को प्राप्त करने का अवसर मिलेगा। राज्य मौजूदा समूहों और कच्ची सामग्री को ध्यान में रखते हुए एक जिले के लिए खाद्य उत्पाद निर्धारित करेंगे। एक जिला एक उत्पाद दृष्टिकोण (ओडीओपी) उत्पाद शीघ्र सडऩे-गलने वाली उपज पर आधारित, अनाज आधारित उत्पाद या व्यापक रूप से जिले और उनके सहयोगी क्षेत्रों में उत्पादित खाद्य उत्पाद हो सकता है।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री सूक्ष्म खाद्य प्रसंस्करण उद्योग उन्नयन योजना में आम, आलू, लीची, टमाटर, साबूदाना, किन्नू, भुजिया, पेठा, पापड़, अचार, मोटे अनाज आधारित उत्पाद, मत्स्यिकी, पॉल्ट्री, मांस तथा पशुचारा आदि शामिल है। ओडीओपी दृष्टिकोण के तहत उत्पादन करने वालों को प्राथमिकता दी जाएगी। उन्होंने कहा कि योजना के तहत अन्य उत्पादों का उत्पादन करने वाले उद्यमों का भी समर्थन दिया जाएगा। ओडीओपी दृष्टिकोण के तहत उत्पादों के लिए सामान्य बुनियादी ढांचे और ब्रांडिंग और विपणन के लिए समर्थन दिया जाएगा। योजना के तहत सहायता प्राप्त करने के इच्छुक मौजूदा खाद्य प्रसंस्करण यूनिटें एफएमई पोर्टल पर आवेदन कर सकती हैं।