निजी स्कूल संचालकों पर कार्रवाई करने की बजाय अभिभावकों पर मामला दर्ज करना सरासर तानाशाही
सोनीपत। छात्र अभिभावक संघ के संयोजक विमल किशोर ने 134 ए के उत्तीर्ण मेधावी बच्चों के दाखिले को लेकर आंदोलन कर रही महिला अभिभावकों पर मामला दर्ज करने की कड़ी निंदा करते हुए मामला खारिज करने की मांग की। छात्र अभिभावक संघ के संयोजक विमल किशोर ने जारी विज्ञप्ति में आरोप लगाते हुए कहा कि अभिभावकों पर मामला दर्ज कर सरकार व प्रशासन ने दिखा दिया है कि सरकार व प्रशासन प्राइवेट स्कूलों को संरक्षण दे रहे हैं। प्राइवेट स्कूलों के सामने नतमस्तक हैं। प्राइवेट स्कूलों के खिलाफ कार्रवाई करने की बजाय पीड़ित महिलाओं पर मामला दर्ज किया जा रहा है जो सीधा-सीधा तानाशाही है।
विमल किशोर ने कहा कि पिछले 20 दिनों से अभिभावक लगातार शांतिप्रिय आंदोलन कर रहे थे। अधिकारियों के यहां चक्कर काट रहे थे। अभिभावकों और बच्चों का उत्पीड़न हो रहा था। प्राइवेट स्कूल वाले सरकार व प्रशासन की कोई बात नहीं मान रहे थे। सरकार व प्रशासन ने प्राइवेट स्कूलों के खिलाफ तो कोई कार्रवाई की नहीं, बल्कि पिछले 20 दिन से जो पीड़ित अभिभावक थे उनके खिलाफ मामला दर्ज कर दिया गया। जो ये दर्शाता है कि सरकार और प्रशासन निजी स्कूल संचालकों के साथ खड़े है। जिस कारण प्राइवेट स्कूल वाले तानाशाही दिखा रहे हैं। विमल किशोर ने कहा कि सरकार व प्रशासन यदि प्राइवेट स्कूलों के साथ नहीं खड़े और प्राइवेट स्कूलों को सरकार का संरक्षण नहीं है तो सरकार अपनी ईमानदारी का परिचय देते हुए निजी स्कूल संचालकों पर कार्रवाई करके दिखाएं और सभी बच्चों के दाखिले करवाएं। छात्र अभिभावक संघ डरने वाला नहीं है, जब तक 134 ए के उत्तीर्ण पात्र बच्चों के दाखिले नहीं हो जाते आंदोलन जारी रहेगा।