बॉलीफिट में छात्राओं के साथ खूब थिरकी प्राध्यापिकाएं
श्याम वशिष्ठ, सोनीपत। डांस स्वयं को प्रफुल्लित और आनंदित करने का बेहतरीन माध्यम है। साथ ही डांस के सहारे खुद को मानसिक व शारीरिक रूप से भी स्वस्थ रख सकते हैं। जीवीएम गल्र्ज कालेज ने गुरुवार को यही संदेश प्रसारित किया, जिसके लिए कालेज में बॉलीफिट समारोह का धमाकेदार आयोजन किया गया। संस्था के प्रधान डा. ओपी परूथी व प्राचार्या डा. ज्योति जुनेजा ने सफल आयोजन की बधाई देते हुए कहा कि स्वस्थ रहने के लिए कोई भी तरीका अपनाया जा सकता है। फन और फिटनेस कार्यक्रम के रूप में बॉलीफिट को छात्राओं का दमदार रिस्पोंस मिला। प्राचार्या डा. ज्योति जुनेजा ने जैसे ही समारोह का शुभारंभ किया वैसे ही हर कोई एक अलग ही मस्ती में झूमता नजर आया। पढ़ाई और पढ़ाना आदि हर प्रकार की जिम्मेदारी और तनावों से दूर होकर प्राध्यापिकाएं तथा छात्राएं नये-पुराने गानों पर थिरकती दिखाई दी। स्वयं प्राचार्या डा. ज्योति जुनेजा भी खुद को आनंद के इस सरोवर में सराबोर करने से नहीं रोक पाई। आसपास की महिलाओं ने भी इस मौके का पूरा लाभ उठाया। कमलेश चोपड़ा व रोजी चोपड़ा और रूचिका विरमानी के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित बॉलीफिट एक अनूठे कार्यक्रम का रूप ले गया, जिसमें केवल और केवल डांस की मस्ती थी। कालेज की पूर्व छात्रा रेणू खत्री ने इस आयोजन में विशेष सहयोग दिया। उनके फिटजोन सेंटर की सदस्यों ने बॉलीफिट को सही प्रकार से संचालित करने में मदद दी। कालेज की करीब 1200 छात्राओं ने लॉन परिसर में एकत्रित होकर बॉलीवुड के गानों पर जमकर डांस किया। बॉलीवुड के साथ पंजाबी तथा हरियाणवी गानों का भी जानदार तडक़ा लगाया गया। इनमें प्राध्यापिकाएं भी पीछे नहीं रही। कालेज की छात्रा अंजलि, वैशाली व आरजू का कहना था कि बॉलीफिट एक यादगार कार्यक्रम रहा, जिसे कभी भुलाया नहीं जा सकेगा। छात्रा नितिका, आरती व प्रियंका ने कहा कि डांस और फिटनेस के आपसी जुड़ाव को बॉलीफिट ने शानदार तरीके से दर्शाया है। प्राध्यापिका रूचिका विरमानी व आस्था बतरा ने कहा कि बॉलीफिट में जुंबा और एयरोबिक्स भी कराया गया। यह बेहतरीन व्यायाम है, जिसमें डांस और फिटनेस दोनों शामिल हैं। इस मौके पर प्राचार्या डा. ज्योति जुनेजा ने कहा कि बॉलीफिट का आयोजन पूर्ण रूप से सफल रहा। यह ऐसा समारोह था जिसमें शिक्षक और छात्राओं के बीच कोई भेद नहीं था। इसके लिए कोई कड़े नियम नहीं थे और न ही कोई प्रोटोकॉल का दबाव था। बॉलीफिट का उद्देश्य तो सिर्फ सबको आनंदित करना था, जिसमें पूर्ण सफलता मिली। जिन्हें डांस नहीं आता था वे भी आज झूमती नजर आई।