- अवैध निर्माणों पर जिला प्रशासन की सख्ती जारी
– डीटीपी ने शहरी व नियंत्रित क्षेत्र में अवैध निर्माण किए ध्वस्त
सोनीपत। जिला नगर योजनाकार विभाग की ओर से उपायुक्त ललित सिवाच के निर्देश पर शुक्रवार को सहायक नगर योजनाकार एवं डयूटी मजिस्ट्रेट सोनीपत अंजू की देखरेख में पुलिस प्रशासन के सहयोग से शहरी व नियंत्रित क्षेत्र में अवैध निर्माण ध्वस्त किए गए। इस कार्यवाही में गांव राई की राजस्व सम्पदा में निकट एचएसआईआईडीसी आउटर रोड़ के साथ 5 डीपीसी, 4 कच्चा रोड नेटवर्क तथा गांव राई से राठधाना रोड़ पर 4 डीपीसी, 2 कच्चा रोड नेटवर्क का अवैध रूप से हो रहे निर्माण कार्य को ध्वस्त किया गया। उपायुक्त ललित सिवाच ने डीटीपी विभाग को सख्त निर्देश दिए कि जिला में अवैध निर्माण न होने दिया जाए।
उन्होंने आमजन से अपील की कि नियंत्रित क्षेत्र में कोई भी निर्माण करने से पूर्व डीटीपी से अनुमति प्राप्त करने उपरांत ही निर्माण कार्य शुरू करें अन्यथा अवैध निर्माण को तोडने एवं पुलिस विभाग में प्राथमिकी रिर्पोट दर्ज करवाई जाएगी। उन्होंने कहा कि अवैध निर्माण को ध्वस्त करने में जो सरकारी खर्चा आएगा, उसकी वसूली भी संबंधित अवैध निर्माणकर्ता से वसूली जाएगी। उन्होंने कहा कि कोई भी व्यक्ति घोषित किए गए नियंत्रित क्षेत्रों में बिना अनुमति निर्माण न करें। उपायुक्त ने आमजन का आह्वान किया कि किसी भी अवैध कॉलोनी में कोई प्लाट न खरीदें ताकि आमजन की खून-पसीने की कमाई व्यर्थ न जाए। कोई भी व्यक्ति प्लॉट खरीदने से पहले कॉलोनी की वैधता बारें जिला नगर योजनाकार, सोनीपत कार्यालय से किसी भी कार्यदिवस में सम्पर्क किया जा सकता है।
जिला नगर योजनाकार नरेश कुमार ने बताया कि विभाग द्वारा की जा रही तोडफोड में और सख्ती बरती जायेगी, ताकि अवैध कालोनी काटने व उसमें निर्माण करने वाले मंसूबे पूरे न हो सकें और समय रहते पनप रहे अवैध निर्माण को तोड़ा जा सके। सभी अवैघ कालेानियों में जन साधारण को जागरूक करने के लिए चेतावनी बोर्ड भी लगाये जा चुके हैं। उन्होंने आमजन से अपील करते हुए कहा कि अवैध कॉलोनियों में भू:माफियाओं के बहकावे में आकर प्लॉट ना खरीदें व अपनी मेहनत की कमाई को बरर्बाद ना होने दें, क्योंकि अवैध कालोनी में सरकार द्वारा किसी भी प्रकार की सुविधा नहीं दी जाती है। कोई भी अवैध कालोनी, निर्माण करने से पहले सरकार से नियमानुसार अनुमति लें। अवैध कालोनी, निर्माण को किसी भी समय अधिनियम के प्रावधान में गिराया जा सकता है।